रविवार, 31 अक्तूबर 2010

अपने धर्म को भूल जाना सचमुच बुरे से बुरा काम है




अपनी त्रुटि का पता चलने के बाद उसे मिटाने में

थोड़ा भी समय नहीं खोना चाहिए

इसी में हम कुछ करते हैं ; यही नहीं बल्कि सच्चा काम करते हैं

इसके विपरीत आचरण करके

अपने धर्म को भूल जाना सचमुच बुरे से बुरा काम है


- महात्मा गांधी



5 टिप्‍पणियां:

  1. गांधी जी की नोआखाली में किसने सुनी...उन्होंने भी नहीं जिनके लिये दो देश बन गये..

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  2. महात्मा गांधी की तो नोआखाली में भी नहीं सुनी गई, उन्होंने भी नहीं जिनके लिये एक देश और बना दिया गया...

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  3. महात्मा गांधी की तो नोआखाली में भी नहीं सुनी गई, उन्होंने भी नहीं जिनके लिये एक देश और बना दिया गया...

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